शब्दों का स्वाद

शब्द उबल उबल कर,
अंदर ही अंदर पकने लगते हैं,
शब्दों की सीटी बजने लगती है,
कभी छोले की मिठास सी कविता पकती है,
तो कभी राजमा की खट्टास सा छंद,
गाहे बगाहे कहानी की कोई तरकारी भी पक जाती है।

प्रकृति का संगीत उत्सव

अब असंख्य बादल पानी बरसाए जा रहे हैं,
संगीत निरंतर बज रहा है,
झींगूर नाचे जा रहे हैं,
मेंढक टर टरा रहे हैं, 
धरती भी झूम उठी है,
महसूस  होता है,
प्रकृति आज संगीत उत्सव मना रही है,

सूखे वृक्ष का संदेश

खुद को जड़ कर,
भीतर अपना रस संजोए,
वृक्ष उस वक्त के इंतज़ार में है,
जब हवा में नमी लौट आएगी,
और प्रकृति की कठोरता पिघलने लगेगी।

कुछ बिखर रहा है

कुछ बिखर रहा है शायद,
जो था कल तक संजोया,
वो सब अस्त व्यस्त हो रहा है,
दिमाग़ कहता है हाथ बढ़ा,
और समेट ले इस बिखरते हुए को,
मगर दिल कहता है
छूट जाने दे हर जकड़े हुए को,

Kitna mushkil hai Siddharth ka Buddha ho jaana?

बुद्ध – एक नाम जो पूरे संसार में प्रचलित है। एक इंसान जिसने विश्व कल्याण में पूरा जीवन लगा दिया और अपने ज्ञान से भगवान का दर्ज़ा पा लिया। कहते हैं संसार सिर्फ़ आपकी उपलब्धियों को याद रखता है और संघर्षों को भुला देता है। जैसे संसार ने बुद्ध के होने में सिद्धार्थ को भुलाContinue reading “Kitna mushkil hai Siddharth ka Buddha ho jaana?”

तलाश

इस success के बारे में इतना सुन चुका था कि मैंने भी ठान ली, एक दिन success को पाकर ही रहूँगा और तब सारे सवाल सक्सेस से पूछूँगा। मैंने सवालों के सिलसिले को थामा और लग गया कमाने में, सक्सेस को पाने में।

वर्तमान का सूरज

मैं अब तक समझ नहीं पाया हूँ कि उस रिश्ते को कहते क्या हैं जो दो इनसानों को खामोशी के बंधन से बाँध उन्हें अपेक्षाओं के समुंदर से कहीं दूर ले जाता है। छोटी सी एक पहाड़ी के ऊपर जहाँ बैठ दोनों नीचे फैले अथाह समुंदर के छोर पर लाल सूरज को ताकते रहते हैं।

गंगा घाट

गंगोत्री से गंगा के घाट तक, ज़िंदगी की तलाश में,मैं आज आ पहुँचा हूँ, मृत्य तक। कई सवाल हैं मेरे ज़हन में,जो खींच लाए हैं मुझे साधुओं के इस नगर में,जीवन का तात्पर्य क्या है?अगर कर्म प्रधान इंसान को केवल कर्म करते हुए जीते रहना है,तो आखिर जीते रहने का मक़सद क्या है ?सारा जगContinue reading “गंगा घाट”

अफ़वाह

एक अफवाह है ज़माने में ,के कई मुसीबतें हैं दिल लगाने में ,कुछ आग के दरिया की बात करते हैं,तो कुछ मुहब्बत में फना हो जाने से डरते हैं। सुना है दिल टूटे जो किसी कातो शायर बन जाता है,और मिल जाए मुहब्बत किसी कोतो दुनिया से तर जाता है। ना जाने कुदरत की दीContinue reading “अफ़वाह”